सारा सिस्टम ही फ़ेल है

भारत पर आतंकी हमला जब हुआ तो हमारी सेना यूद्ध का अभ्यास कर रही थी वो भी उस स्थान पर जिस से होते हुए आतंकी भारत में प्रवेश कर गए थे | भारत में आतंकी इतने आराम से प्रवेश कर गए और यूद्ध का अभ्यास कर रहे हमारी सेना को पता भी नही चला | आखिर सवाल ये उठता है की वे यूद्ध का अभ्यास क्यों कर रहे थे | जब अभ्यास ही कर रहे थे तो क्या ये भी याद नही रहा के सीमा की भी देख भाल भी करनी है | यूद्ध का अभ्यास कर रहे थे दुश्मनो से लड़ने के लिए और दुश्मन है की हमारी सतर्क सेना के नाक नीचे से भारत में प्रवेश कर गए वो भी एक नही पुरे २६ आतंकी जो पुरे भारत को हिला कर रख दिए | जब खुफिया एजेंसिया हमारी पुलिस को ये पहले ही बता चुकी थी की भारत में दिल्ली और मुंबई में आतंकी हमला हो सकता है तो क्यों सतर्क नही हुई हमारी पुलिस क्या इस घटना का इंतजार कर रही थी या किसी के आज्ञा का इंतजार कर रही थी | और हमारी पुलिस कहती है की जब तक जनता पुलिस की साथ नही देगी तो पुलिस भी कुछ नही कर सकती है क्या समुद्र पर रात दिन गुजर रहे मछुवारे जनता नही है मछुवारे की समूह ने पुलिस को एक पत्र सौपा था जिसमे कहा गया था की पाकिस्तान के समुद्र तट से जो मछली भारत आ रही है उसमे बारूद भरा होता है और उसकी janch होनी चाहिए लेकिन हमारी भारतीय पुलिस को कहाँ इतनी फिक्र है उन्हें तो हप्ता और वसूली से फुर्सत हो तब न इस और धयान जाए | अगर मछुवारे के समूह की बात मान कर तुंरत कारवाई की होती तो आज ताज की सकलो सूरत वही रहती जो २६ नवम्बर से पहले थी | फिर भी भारतीय पुलिस और प्रशासन को मज्बोत करना होगा हमारी सरकार को कुछ और स्वतंत्रता देनी होगी हमारी पुलिस और सेना को पहले तो जितने भी नेता है उनसे NSG Guard को हटा कर प्राइवेट गार्ड देनी होगी और देश में सभी स्थल जल, थल, और आकाश में जितनी भी जगह खली है उन्हें तुंरत ही भरनी होगी वरना हम बाकी देशो से क्या लडेंगे पहले ९ आतंकी को ढेर करने को लिए हमें सेना की दरकार पड़ रही है ये कहाँ और कौन देश में होता है हमरे स्टेट को पुलिस को पास ये अदद लाठी होती है क्या हम राजा महाराजा को समय जी रहे है या आने वाले इकीसवी सदी को मुह चिडा रहे है क्या होगा इस देश का पुरे सिस्टम को ये बार बदलने की जरुरत है वरना दुश्मन ही हमें सर उठा कर जवाब देंगे |
अब वक्त आ गया है जागना पड़ेगा .........|

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